





छत्तीसगढ़ टुडे 24 न्यूज़ धरमजयगढ़ — धरमजयगढ़ में भी महापर्व छठ पूजा की शुरुआत शनिवार को नहाय-खाय के साथ हो चुकी है। रविवार यानी आज खरना पूजा के बाद 36 घंटे का निर्जला व्रत शुरू हो जाएगा। शहर के छठ घाटों में भी छठ पर्व को लेकर तैयारियां की जा रही है.और छठ घाट को आकर्षक झालरों से सजाया जा रहा है।छठ पर्व को महापर्व कहा जाता है। यह चार दिनों तक चलने वाला पर्व है, जिसकी शुरुआत नहाय-खाय से हो चुकी है। शनिवार को श्रद्धालुओं ने साफ कपड़े पहनकर लौकी की सब्ज़ी और बिना लहसुन-प्याज का भोजन किया। धरमजयगढ़ के रहने वाले विजेंद्र प्रताप सिंह ने बताया कि नहाय-खाय में चना दाल और लौकी की सब्जी बनाई गई, जिसमें सेंधा नमक का उपयोग किया गया।
भोजन मिट्टी के चूल्हे पर तैयार किया गया। इसके बाद रविवार को खरना व्रत होगा। इसमें छठ करने वाले श्रद्धालु पूरे दिन निर्जला उपवास रखते हैं और शाम को भगवान सूर्य की विधि-विधानपूर्वक पूजा-अर्चना कर प्रसाद ग्रहण करते हैं। इसके बाद 36 घंटे का निर्जला व्रत शुरू हो जाएगा।
सोमवार को डूबते सूर्य को देंगे अर्घ्य
महापर्व छठ पूजा में सोमवार को व्रती श्रद्धालु शाम के समय अपने परिवार के साथ पूजा सामाग्री लेकर छठ घाट पहुंचेंगे। जहां डूबते सूर्य की पूजा कर दूध और जल से अर्घ्य देंगे और मंगलवार की सुबह फिर से उगते सूर्य की पूजा कर अर्घ्य देकर व्रत पूरा करेंगे।
धरमजयगढ़ छठ घाट पर युवाओं द्वारा की जाती है विशेष व्यवस्था
हर वर्ष की भांति इस वर्ष भी स्थानीय युवा समितियां ने छठ पूजा व्रतियों के लिए विशेष व्यवस्था की है. सेवा के रूप में सदैव तत्पर रहते हैं, छठ घाट की साफ सफाई के साथ ही साथ रास्ते के निर्माण में भी युवाओ की महत्वपूर्ण भूमिका रहती है.








